लखीमपुर खीरी, 09 नवंबर 2024 - शनिवार को ‘सनातन धर्म सरस्वती विद्या मंदिर बालिका इंटर कॉलेज, मिश्राना’ में आयोजित मातृ-भारती के व्याख्यान माला सप्ताह के तीसरे दिन भारतीय संस्कृति के विषय पर एक प्रेरणादायक कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस विशेष अवसर पर कार्यक्रम की शुरुआत मातृ भारती की अध्यक्ष प्रीति दीक्षित और विद्यालय की प्रधानाचार्या शिप्रा बाजपेई द्वारा दीप प्रज्ज्वलन और सरस्वती वंदना के साथ हुई।
कार्यक्रम में विद्यालय की मातृ-भारती की सदस्य डॉ. शान्या तिवारी ने भारतीय संस्कृति के महत्व को उजागर करते हुए छात्राओं को प्रेरणा दी। उन्होंने कहा कि भारतीय संस्कृति विश्व की सबसे पुरानी और महान संस्कृतियों में से एक है, जो ‘वसुधैव कुटुंबकम्’ के सिद्धांत पर आधारित है। भारतीय संस्कृति में बड़ों का आदर-सम्मान करना, दूसरों के प्रति सहानुभूति और सहयोग रखना, तथा सत्य और निष्ठा के मार्ग पर चलना महत्वपूर्ण सिद्धांत हैं।
डॉ. तिवारी ने छात्राओं को अपने संस्कार और परंपराओं के प्रति जागरूक रहने की प्रेरणा दी और बताया कि आत्मसम्मान और आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ना भी भारतीय संस्कृति का महत्वपूर्ण हिस्सा है। भारतीय संस्कृति के मूल्यों को आत्मसात करके जीवन को सार्थक और सफल बनाया जा सकता है।
इस कार्यक्रम में मातृ-भारती की अन्य सदस्य, रिचा पांडेय और लक्ष्मी गुप्ता भी उपस्थित थीं। विद्यालय की प्रधानाचार्या शिप्रा बाजपेई ने अतिथियों का आभार व्यक्त किया और छात्राओं को इस प्रकार के आयोजनों में भाग लेकर भारतीय संस्कृति को समझने और अपनाने की प्रेरणा दी।
यह कार्यक्रम छात्राओं के लिए एक मार्गदर्शक और प्रेरणादायक अनुभव रहा, जिसमें उन्होंने भारतीय संस्कृति के विभिन्न पहलुओं को समझा और आत्मसात करने का संकल्प लिया।