डब्ल्यूएससी जी20 देशों के साथ भारतीय मसालों के अंतरराष्ट्रीय व्यापार को बढ़ावा देने के लिए नए अवसर पैदा करेगा


नई दिल्ली  भारत को विश्व का ‘मसाला कटोरा‘ कहा जाता है। यह कई प्रकार के गुणवत्तापूर्ण, दुर्लभ तथा चिकित्सकीय मसालों का उत्पादन करता है। भारतीय मसालों के अंतरराष्ट्रीय व्यापार को बढ़ावा देने के लिए नए अवसर पैदा करने के उद्वेश्य से, विश्व मसाला कांग्रेस (डब्ल्यूएससी) का 14वां संस्करण 16 से 18 फरवरी 2023 तक मुंबई में आयोजित किया जाएगा।

वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय में मसाला बोर्ड के सचिव श्री डी साथियान ने कहा कि डब्ल्यूएससी का यह संस्करण विशेष है क्योंकि यह भारत की जी20 अध्यक्षता के साथ मेल खाता है। वह आज मुंबई में आयोजित पूर्वावलोकन प्रेस कांफ्रेंस के दौरान संबोधित कर रहे थे। उन्होंने यह भी कहा कि यह हितधारकों के लिए कोविड-19 के बाद के उद्योग के रुझानों पर चर्चा करने और भविष्य के मार्ग की रूपरेखा बनाने के लिए एक मंच उपलब्ध कराएगी। न केवल व्यापारियों के लिए बल्कि नीति नियामकों के लिए भी एक मंच बनाने के लिए आयोजित इस कार्यक्रम में जी20 देशों के बीच मसाला व्यापार को बढ़ावा देने के लिए समर्पित व्यवसायिक सत्र होंगे। श्री साथियान ने सूचित किया कि इस कार्यक्रम में नीति निर्माता, नियामक प्राधिकरण, मसाला व्यापार संघ, सरकारी अधिकारी तथा प्रमुख जी20 देशों के तकनीकी विशेषज्ञ भी भाग लेंगे। डब्ल्यूएससी 2023 की थीम विजन 2030 : एस-पी-आई-सी-ई-एस (सस्टेनेबिलिटी, प्रोडक्टिविटी, इनोवेशन, कोलाबोरेशन, एक्सेलेंस और सेफ्टी) होगी।

डब्ल्यूएससी के स्थल के रूप में महाराष्ट्र को चुनने के बारे में जानकारी देते हुए श्री साथियान ने कहा, ‘‘महाराष्ट्र मसाला उत्पादन करने वाले अग्रणी राज्यों में से एक है। यह भारत में हल्दी का सबसे बड़ा उत्पादक है। महाराष्ट्र दो जीआई टैग वाली हल्दी किस्मों और एक जीआई टैग वाली मिर्च किस्म का उत्पादन करता है। महाराष्ट्र के तटीय क्षेत्रों को जीआई टैग वाले कोकम के उत्पादन के लिए भी जाना जाता है। यह राज्य मसालों के लिए सबसे बड़े निर्यात केंद्रों में से एक है।‘‘

श्री साथियान ने कांग्रेस के लिए बनाये गए कार्यक्रमों के विवरण उपलब्ध कराते हुए कहा कि वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री श्री पीयूष गोयल तथा वाणिज्य एवं उद्योग राज्य मंत्री श्रीमती अनुप्रिया पटेल ने नवी मुंबई के सिडको अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन केंद्र में आयोजित होने वाले डब्ल्यूएससी 2023 में सम्मिलित होने के लिए अपनी सहमति दे दी है। श्री पीयूष गोयल 17 फरवरी, 2023 को मसालों के निर्यात में उत्कृष्टता के लिए ट्रौफी और पुरस्कारों का भी वितरण करेंगे।

श्री साथियान ने भारत में मसाला व्यापार के बारे में विस्तार से बताते हुए कहा कि 2022-23 के दौरान, कुछ मसालों, विशेष रूप से जीरा, मेथी, अजवाइन, डिल, पोस्ता, सौंफ, सरसों तथा अन्य मसालों सहित बीज मसालों की मांग में वृद्धि हुई है। पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में अप्रैल- अक्टूबर 2022 के दौरान लहसुन ने मात्रा में 170 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज कराई है। कुछ अन्य मसाले जैसे सौंफ, जिनका वर्तमान सीजन में बंपर पैदावार हुई है, हींग, दालचीनी, और तेज पत्ता में भी सकारात्मक रुख प्रदर्शित हुए हैं। करी पाउडर जैसे मसालों से प्राप्त मूल्य वर्धित उत्पादों में भी सकारात्मक रुझान प्रदर्शित हुए हैं।

भारत में अधिकांश मसाला व्यापार वर्ष की अंतिम तिमाही के दौरान होता है और भारतीय मसाला उद्योग जनवरी-मार्च 2023 के दौरान मसालों के निर्यात में वृद्धि की उम्मीद कर रहा है, जिससे कुल निर्यात 4 बिलियन डॉलर तक हो जाने की उम्मीद है। डब्ल्यूएससी 2023 इस क्षेत्र में विविध संभावनाओं की खोज करने के लिए एक मंच प्रदान करेगा।