विक्रम पांडे
ग्रेटर नोएडा: नोएडा में हुए एसिड अटैक के खिलाफ भारी बारिश होने के बावजूद सैकड़ों के संख्या में महिलाएं तथा पुरुष सदस्य ने नेफोवा के बैनर तले तेजाब कि बिक्री बंद करने और एसिड अटैक करने वालों फांसी देने की मांग करते हुए जोरदार प्रदर्शन किया. प्रदर्शनकारियों का कहना था कि एसिड अटैक के बाद एक लड़की केवल तन से ही नहीं मन से भी पूरी जिंदगी उस घाव को झेलती है।
भारी बारिश होने के बावजूद सैकड़ों के संख्या में महिलाएं तथा पुरुष ग्रेटर नोएडा वेस्ट के एक मूर्ति गोल चक्कर पर इकट्ठा हुए उन्होंने हाथो में प्लेकार्ड और तख्तिया लिये हुए थे जिस पर एसिड अटैक के खिलाफ नारे लिखे हुए थे और मोबाइल के टार्च को जला कर जोरदार तरीके से प्रदर्शन किया तेजाब कि बिक्री बंद करने और एसिड अटैक करने वालों फांसी देने की मांग करते हुए नारे लगाये.
ये लोग नोएडा के ममूरा गांव में युवक के बदला लेने की नीयत अपनी महिला मित्र पर तेजाब फेंकने का विरोध कर रहे थे. इस हादसे में महिला बुरी तरह झुलस गई थी। उसका इलाज दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में चल रहा है। पुलिस ने मुठभेड़ के बाद आरोपी बदमाश को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. ये प्रदर्शन नेफोवा की महिला सदस्य ने आयोजित किया गया था जिसमे पुरुषों ने भी बडी संख्या में भाग लिया. नेफोवा की महासचिव श्वेता भारती ने कहा कि एसिड अटैक के खिलाफ जो भी कानून है उसे और ताकतवर बनाने की जरूरत है, साथ ही एसिड अटैक करने वाले को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए।
नेफोवा के महासचिव अभिषेक ने कहा कि तेज़ाब से हमले के बाद जख्म तो भर जाते हैं लेकिन शरीर पर इनके निशान, चेहरा खो जाने का सदमा मनोवैज्ञानिक स्तर भी पर पीड़ित को तोड देता है, कुछ दिन पहले ही नेफोवा के सदस्य एसिड अटैक सरवाइवर से मिलकर आए थे और तभी से इस अत्याचार को खत्म करने के लिए उनके साथ कदम से कदम मिलाकर चलने का निर्णय लिया। नेफोवा ने अपने सदस्यों से यह भी आह्वान किया कि नोएडा में खुले एसिड अटैक सर्वाइवर के कैफे में भी जाएं और उन्हें सपोर्ट करें। उन्होने नेफोवा के सदस्यों का खराब मौसम और बारिश के बावजूद लोगों ने इस मुहिम को पूरा सपोर्ट देने और बहुत बड़ी संख्या में मार्च में भाग लेने के लिये धन्यवाद दिया.