बदायंू: गायत्री शक्तिपीठ एवं आध्यात्मिक चेतना केंद्र पर ट्रस्ट के पुनर्गठन, आय व्यय और प्रखर प्रज्ञा-सजल श्रद्धा के निर्माण को लेकर संगोष्ठी हुई।
मुख्य प्रबंध ट्रस्टी बी ज्ञानेंद्र ने गायत्री मंत्र के सस्वर उच्चारण के साथ संगोष्ठी का शुभारंभ कराया। उन्होेंने कहा कि युवाशक्ति ही श्रेष्ठ चिंतन से नया संसार बसानें और नया इंसान बनाने की सामथ्र्य रखती है। युवा सृजन सैनिक बनकर अपने कत्र्तव्यों और उत्तरदायित्वों को निभाएं।
जिला समंवयक नरेंद्र पाल शर्मा ने कहा कि युगनिर्माणी कार्यकर्ता राष्ट्र के लिए उपयोगी सिद्ध हों। वेदमूर्ति तपोनिष्ठ पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य ने विचार क्रांति से दुनियां को बदलने का संकल्प लिया। आज विचारों को बदलने की जरूरत है।
गायत्री परिवार के संजीव कुमार शर्मा ने कहा कि युवा अपनी अद्भुत क्षमताओं, योग्यताओं और प्रतिभाओं से संभावनाओं को साकार करें। चुनौतियां व्यक्तित्व निखारने के साथ जीवन जीना सिखाती हैं। नई चुनौति से नई उपलब्धि और नया इतिहास रचने जैसा साहस पाएं।
संगोष्ठी में ट्रस्ट 12 ए के रजिस्ट्रेशन, ट्रस्ट का पुनर्गठन, आयकर विवरणी, ट्रस्टियों के समयदान व अंशदान के अलावा प्रखर प्रज्ञा-सजल श्रद्धा के निर्माण पर विचार विमर्श हुआ।
शक्तिपीठ के परिब्राजक सचिन देव ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस मौके पर अनिल राठौर, आर्येंद्र यादव, कालीचरन पटेल, माया सक्सेना, रामचंद्र प्रजापति, शिवंवदा सिंह, पूनम, रजनी मिश्रा, ब्रजकिशोर तिवारी आदि मौजूद रहे।