शिवसेना को मनाने के लिए भाजपा ने लिया बड़ा फैसला लेकिन क्या खत्म हो सकता है टकराव





महाराष्ट्र में चुनाव नतीजों की घोषणा हुए 10 दिन से अधिक का समय हो चुका है, लेकिन अभी तक भाजपा और शिवसेना के बीच सरकार बनाने को लेकर समाधान नहीं निकल सका है। दोनों ही दल मुख्यमंत्री पद को लेकर अड़े हुए हैं।

हालांकि भाजपा दो अहम मंत्रालयों की कुर्बानी देने के लिए तैयार हो गई है। सूत्रों की मानें तो भाजपा इस बात पर गंभीर रूप से चर्चा कर रही है कि शिवसेना के साथ सरकार गठन करने के लिए वह दो अहम मंत्रालय राजस्व और वित्त मंत्रालय को छोड़ दे ।

सूत्रों के अनुसार रविवार को देवेंद्र फडणवीस ने भाजपा की कोर कमेटी की बैठक को बुलाया था, जिसमे यह तय हुआ है कि पार्टी शिवसेना को राजस्व और वित्त मंत्रालय देने का प्रस्ताव दे सकती है। माना जा रहा है कि भाजपा शिवसेना को यह दोनों मंत्रालय इसलिए देना चाहती है ताकि वह मुख्यमंत्री पद की जिद को छोड़ दे। बता दें कि इससे पहले भाजपा ने शिवसेना को 13 और भाजपा को 26 मंत्री पद का प्रस्ताव दिया था, जिसे शिवसेना ने ठुकरा दिया था।

मौजूदा समम में सरकार की बात करें तो राजस्व मंत्रालय चंत्रकांत पाटील और वित्त मंत्रालय सुधीर मुनगंटीवार के पास है। शिवसेना मुख्यमंत्री पद के साथ-साथ गृह, वित्त, राजस्व और नगर विकास जैसे अहम मंत्रालयों का समान बंटवारा चाहती है। फिलहाल गृह और नगर विकास मंत्रालय खुद फडणवीस के पास है।

ऐसे में अगर भाजपा राजस्व और वित्त मंत्रालय को छोड़ती है तो चंत्रकांत पाटील और सुधीर मुनगंटीवार को मंत्रालय छोड़ना पड़ेगा। दरअसल दोनों ही नेताओं को पार्टी का कद्दावर नेता माना जाता है, लिहाजा इन दो अहम मंत्रालयों के जाने से फडणवीस की सरकार पर पकड़ ढीली हो जाएगी, ऐसे में पार्टी उम्मीद कर रही है कि शिवसेना इस प्रस्ताव के बाद मुख्यमंत्री पद को छोड़ सकती है।