पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह का कमलनाथ सरकार पर कटाक्ष बोले मुख्यमंत्री बनना होता तो जोड़-तोड़ करके कभी भी बन जाता



पंकज पाराशर छतरपुर
भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव के बयान पर पलटवार करते हुए कहा है कि उन्हें किसी पद की कोई लालसा नहीं है। वे नैतिक व्यक्ति है। यदि मुख्यमंत्री बनना होता तो जोड़ तोड़ करके कभी का बन गया होता। गोपाल भार्गव ने बयान देकर केाई गलती नहीं की। जनता के बीच जन भावना देखकर बोला जाता है, उन्होंने भी वही किया।
उन्होंने कहा कि युवा सम्मेलन था, बच्चे मामा मामा कह रहे थे। उन्होंने पूछ लिया कि मुख्यमंत्री बनना चाहते हो, बच्चों ने हां कहा, तो उन्होंने कह दिया कि बन जाएंगे। इसमें नेता की कोई गलती नहीं है। शिवराज ने कहा कि गोपाल भार्गव ने बयान देकर कोई गलती नहीं की। ऐसा पहली बार नहीं हुआ है लोकसभा चुनाव के दौरान भी कई लोग करते रहे हैं। शिवराज ने कहा कि वे सभी पदों से ऊपर है। किसी पद की कोई आकांक्षा नहीं है। मप्र की साढ़े सात करोड़ जनता की सेवा करना है। इसके लिए वे हर समय जनता के बीच मौजूद रहेंगे। चाहे पद रहे या नहीं। इधर पार्टी सूत्रों का कहना है कि भार्गव के बयान पर उन्हें एक बार फिर हाईकमान से फटकार पड़ी है। यही वजह है कि पूर्व मुख्यमंत्री ने आज सुबह बयान देकर भार्गव का पक्ष लिया है।
*नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव बयान देकर पलटे*
ऐसा पहली बार नहीं है कि गोपाल भार्गव अपने बयान से पलटे हों, इससे पहले भी वे कई बार बयान देकर पलट चुके हैं। साथ ही अपने बयानों के लिए हाईकमान से फटकार भी झेलनी पड़ी है। भार्गव ने नेता प्रतिपक्ष बनने के बाद सबसे पहले बयान दिया था कि कमलनाथ सरकार को विधानसभा में बहुमत साबित करना चाहिए। इसके लिए उन्होंने राज्यपाल को पत्र लिखकर विशेष सत्र बुलाने की मांग भी कर डाली। इस मामले में भार्गव को मुंह की खानी पड़ी। बाद में उन्होंने सफाई देते हुए कहा कि सरकार को बहुमत साबित करना चाहिए। लोकसभा चुनाव के दौरान भी भार्गव ने विवादित बयान दिया था कि पार्टी के नंबर वन और टू के नेता आदेश दें तो सरकार को कुछ ही घंटों में गिरा देंगे। इस बयान पर भार्गव केा हाईकमान से कड़ी फटकार झेलनी पड़ी थी। बीच-बीच में वे कई विवादित बयान देते रहे हैं I उन्होंने झाबुआ में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की मौजूदगी में बयान दिया था कि दिवाली बाद शिवराज सिंह चौहान मुख्यमंत्री होंगे। हालांकि कुछ घंटों के भीतर इंदौर में वे अपने बयान से पटल गए थे।